बुधवार, 28 मई 2025

संघर्ष जीवन का अभिन्न पहलू है...

संघर्ष सबके जिंदगी में है..
शायद ही कोई होगा जिसके जिंदगी में संघर्ष न हो..।
हमसब संघर्ष से बचना चाहते है..
आखिर क्यों..??


अपने आसपास नजर घुमाइए..
हरेक सजीव चीज को देखिए..
चाहे पेड़-पौधे हो या फिर कीड़े मकोड़े से लेकर पंछी,जानवर तक हरेक के जिंदगी में संघर्ष है..
ऐसा कोई नही है जो संघर्ष न कर रहा हो..
मगर हम आप जिसे संघर्ष कहते है,वो अन्य सजीव जगत के लिए सिर्फ एक दिनचर्या है..वो उनके जिंदगी का हिस्सा है..बिना इसके वो नही रह सकता..जिस दिन वो संघर्ष से बचने लगे उस दिन उनका वजूद ही खत्म हो जाएगा..।।
आज हम जिस पेड़-पौधों,कीड़े-मकोड़े, पंछी-जानवर को देख पा रहे है वो इस पृथ्वी पर संघर्ष के कारण ही बचे हुए है..।।

90% से ज्यादा जीव-जंतु,पेड़-पौधे इस पृथ्वी से विलुप्त हो चुके है..।
आखिर क्यों..??
क्योंकि वो संघर्ष नही कर पाए..।।

हमारे पूर्वजों ने भी बहुत संघर्ष किया है..इस कारण आज हम मनुष्य यंहा है..।।
मगर आज हम संघर्ष से बच रहे है..
जो बच रहे है वो नादान है क्योंकि उन्हें पता नही है..कि बिना संघर्ष के किसका उत्थान हुआ है..।।

गीता में श्रीकृष्ण कहते है- बिना कर्म/संघर्ष के कोई नही रह सकता,आप कुछ तो करोगे..।।

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